राजस्थान की खाद्य सुरक्षा योजना में बड़ा सुधार, 23 लाख अपात्र हटे, 51 लाख जरूरतमंद जुड़े, जयपुर में 2 लाख ने छोड़ा लाभ
राज्य सरकार की खाद्य सुरक्षा योजना को पारदर्शी और जरूरतमंदों के अनुकूल बनाने के लिए चलाए जा रहे गिवअप अभियान के सकारात्मक परिणाम सामने आए हैं। खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री सुमित गोदारा ने बुधवार को मीडिया के सामने अभियान का लेखा-जोखा प्रस्तुत किया।
जयपुर । खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री सुमित गोदारा ने कहा कि माननीय मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा जी के मार्गदर्शन में विभाग निरंतर सभी पात्र वंचितों को खाद्य सुरक्षा उपलब्ध करवाने की दिशा में कार्य कर रहा है। गोदारा बुधवार को मंत्रालय भवन में प्रेसवार्ता को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने बताया कि प्रदेश में जनसंख्या के अनुपात में एनएफएसए के अंतर्गत लगभग 4.46 करोड़ लाभार्थियों की सीलिंग है। यह संख्या पूरी हो जाने के कारण नए पात्र लाभार्थियों को खाद्य सुरक्षा का लाभ नहीं मिल पा रहा था। इसी कारण अपात्र लाभार्थियों को खाद्य सुरक्षा सूची से हटाने एवं पात्र वंचितों को खाद्य सुरक्षा से जोड़ने हेतु गिव अप अभियान गत वर्ष 1 नवंबर को शुरू किया गया।
गिव अप अभियान के अंतर्गत 23 लाख लोगों ने छोड़ी खाद्य सुरक्षा
गोदारा ने बताया कि प्रदेश भर में एक नवंबर से अब तक 23 लाख सक्षम लाभार्थियों ने स्वेच्छा से खाद्य सुरक्षा छोड़ी है। उन्होंने कहा की जयपुर जिले में लगभग 2 लाख अपात्र लाभार्थियों ने स्वेच्छा से एनएफएसए से अपना नाम हटवाया है। उन्होंने कहा कि विभिन्न जिलों का दौरा कर गिव अप अभियान की गहन समीक्षा की जा रही है। विभागीय अधिकारियों एवं कार्मिकों द्वारा किए गए उत्कृष्ट कार्य के कारण प्रदेश की जनता ने इस अभियान को सामाजिक न्याय के लिए एक महत्वपूर्ण कदम के रूप में देखा है। आमजन से मिले सहयोग के कारण आज गिव अप अभियान प्रदेश में जन आंदोलन का रूप ले चुका है। उन्होंने कहा कि विभाग का लक्ष्य है कि सभी सक्षम लाभार्थी अभियान की अवधि में स्वेच्छा से खाद्य सुरक्षा त्यागें ताकि ताकि असल हकदारों को योजना का लाभ मिल सकें। राज्य सरकार की वास्तविक हकदारों को लाभ दिलाने की इस अभिनव पहल का अनुकरण अन्य विभागों द्वारा भी किया जाएगा। l इससे राज्य सरकार के संसाधनों का न्यायसंगत वितरण संभव हो सकेगा। उन्होंने कहा कि लगभग 27 लाख लोगों द्वारा प्रदेश में ई केवाईसी संपन्न नहीं करवाई गई, इससे स्वत: उनका नाम खाद्य सुरक्षा सूची से हट गया।
खाद्य सुरक्षा से जुड़े 50 लाख से अधिक नए पात्र लाभार्थी
खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री ने कहा कि 26 जनवरी 2025 को खाद्य सुरक्षा पोर्टल के पुन: प्रारंभ होने के बाद अब तक लगभग 51 लाख पात्र लाभार्थी खाद्य सुरक्षा से जोड़े जा चुके हैं। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार के इस कदम से खाद्य सुरक्षा का लाभ वास्तविक वंचितों को मिल रहा है। इसके साथ ही उन्हें मुख्यमंत्री रसोई गैस सब्सिडी योजना के तहत प्रति वर्ष 450 रुपए में 12 गैस सिलेंडर, मुख्यमंत्री आयुष्मान दुर्घटना बीमा योजना के तहत 5 लाख रुपए का सुरक्षा बीमा एवं मुख्यमंत्री आयुष्मान आरोग्य योजना के तहत निशुल्क चिकित्सा भी मिल रही है। राज्य सरकार के इस कल्याणकारी कदम से वंचित लोगों का जीवन स्तर ऊपर उठ रहा है एवं वे मुख्य धारा से जुड़ रहे हैं। उन्होंने कहा कि माननीय मुख्यमंत्री जी ने 10 लाख नए लाभार्थियों को खाद्य सुरक्षा से जोड़ने की बजट घोषणा की थी। इस लक्ष्य को बजट सत्र के दौरान ही विभाग द्वारा पूरा कर लिया गया।
उचित मूल्य की दुकानों में रिक्तियों को जल्द भरेगा विभाग
गोदारा ने कहा कि प्रदेश में 27000 उचित मूल्य दुकानदारों के मानदेय में राज्य सरकार द्वारा वृद्धि की गई है। मई माह तक का उनका भुगतान कर दिया गया है। 2446 उचित मूल्य की दुकानों में रिक्तियों को भरने हेतु जल्द विज्ञप्ति जारी की गई की जाएगी। तीन माह के अंदर इन रिक्तियों को भर दिया जाएगा। विभाग ने संवेदनशीलता के साथ मृत राशन डीलर्स के आश्रितों को 193 अनुकंपात्मक नियुक्ति प्रकरणों में शिथिलन दिया है।
सार्वजनिक वितरण प्रणाली में फेस ऑथेंटिकेशन जल्द
गोदारा ने प्रेस वार्ता के दौरान बताया कि सार्वजनिक वितरण प्रणाली में राशन देने के लिए जल्द ही आधार आधारित फेस ऑथेंटिकेशन लागू किया जाएगा। इससे राशन वितरण की प्रक्रिया और अधिक पारदर्शी हो सकेगी।
उपभोक्ता विभाग द्वारा लागू होगा जीएटीसी
गोदारा ने कहा कि उपभोक्ता विभाग द्वारा जल्द ही उत्तर प्रदेश एवं मध्य प्रदेश के तर्ज पर जीएटीसी लागू किया जाएगा। इससे माप एवं तौल की प्रक्रिया में उपभोक्ता के साथ न्याय हो सकेगा और राजस्व में भी वृद्धि होगी।